Abhivyakti
Poetry is My Expression
Monday, October 17, 2011
जानते तो थे की मिले हैं बिछड़ने के लिए
इन आँखों में मिलेंगे आंसू फिर से पीने के लिए
मगर इस उम्मीद में जीते चले गए
की तकदीर भी होती है पल में बदलने के लिए
स्वाति
Saturday, October 15, 2011
Khwab Jo(motivational hindi song)-London Dreams
ख्वाब को राग दे
नींद को आग दे
ख्वाब है सच्चा वही
शुक्रिया मेरे मौला .....
मुझे मेरी मंजिल की सीढ़ी देने के लिए
Thursday, October 13, 2011
वो परदे गिरा के कब मिलता था
की आज उसके नकाब का बुरा मानूं
उसकी खुसबू कल भी कस्तूरी थी
आज भी खुद में तलाशती हूँ मैं
स्वाति
Monday, October 10, 2011
जो फैलता दमन तो खुशियाँ मिल ही जाती
ये गवारा नहीं था मुझको ..की भीक लूं
चाह कर भी नहीं कर पाया बेवफाई
बोहोत चाह की तुमसे कुछ सीख लूं
jo na mil saka usay bhool ja
ना वो आँख ही तेरी आँख थी
ना वो दिल ही तेरा दिल था
जो बिसात ए जानही उलट गया
जो रास्ते से पलट गया
उसे रोकने से वसूल क्या
उस मत बुला
उसे भूल जा
Saturday, October 08, 2011
तू साया ही था मेरे शरीर का
अंधेरों में साथ छोड़ गया
तू स्वप्न था उस रात का
सवेरे रौशनी जिसे लूट गया
स्वाति सिन्हा
तू साया ही था मेरे शरीर का
अंधेरों में साथ छोड़ गया
तू स्वप्न था उस रात का
सवेरे रौशनी जिसे लूट गया
स्वाति सिन्हा
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